Belrise Industries ने FY25 के नतीजे जारी किए – रेवेन्यू में 11% की बढ़त

बेलराइज़ इंडस्ट्रीज़ लिमिटेड ने 31 मार्च 2025 को खत्म हुए वित्त वर्ष के लिए अपने फाइनेंशियल रिज़ल्ट्स की घोषणा की है। कंपनी ने साल भर मजबूत ऑपरेशनल प्रदर्शन और कुछ अहम अधिग्रहणों के ज़रिए निरंतर ग्रोथ हासिल की है। FY25 में कंपनी का कुल रेवेन्यू ₹82,908 करोड़ रहा, जो पिछले साल के ₹74,841 करोड़ से 11% ज़्यादा है।

मैन्युफैक्चरिंग रेवेन्यू (ट्रेडिंग को छोड़कर) ₹65,938 करोड़ तक पहुंच गया, जिससे कंपनी के कोर बिजनेस की स्थिरता का संकेत मिलता है।

EBITDA इस साल ₹10,211 करोड़ रहा और मार्जिन 12.3% पर बना रहा। कंपनी का प्रॉफिट आफ्टर टैक्स ₹3,554 करोड़ रहा, जो कि 13% की बढ़त है और PAT मार्जिन 4.3% पर रहा।

कंपनी के मैनेजिंग डायरेक्टर श्रीकांत शंकर बडवे ने इस पर कहा कि यह प्रदर्शन हमारे डाइवर्सिफाइड प्रोडक्ट पोर्टफोलियो और इनोवेशन-फोकस्ड अप्रोच की ताकत को दर्शाता है।

इस साल के दो प्रमुख अधिग्रहण रहे H-One India और MagFilters।

H-One India के साथ कंपनी को हाई-टेंसाइल स्टील फैब्रिकेशन, प्रेस लाइन टेक्नोलॉजी और जापानी OEMs से जुड़ने का अवसर मिला। वहीं MagFilters के अधिग्रहण से कंपनी की प्लास्टिक मोल्डिंग क्षमता और फिल्ट्रेशन प्रोडक्ट रेंज में विस्तार हुआ।

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बेलराइज़ भारत के टू-व्हीलर मेटल कंपोनेंट्स सेगमेंट में एक अग्रणी कंपनी है और इसका मार्केट शेयर करीब 24% है। देश के 9 राज्यों के 10 शहरों में फैली इसकी 17 मैन्युफैक्चरिंग यूनिट्स 30 से ज़्यादा OEMs को 1,000 से ज़्यादा प्रोडक्ट्स सप्लाई करती हैं। कंपनी का पावरट्रेन-अग्नॉस्टिक अप्रोच, यानी इलेक्ट्रिक और पेट्रोल दोनों वाहनों में काम आने वाले प्रोडक्ट्स बनाना, इसे भविष्य की मांगों के लिए तैयार रखता है।

FY25 में इसका 73% मैन्युफैक्चरिंग रेवेन्यू पावरट्रेन-अग्नॉस्टिक प्रोडक्ट्स से आया।

मार्च 2025 तक कंपनी के कुल एसेट्स ₹72,255 करोड़ रहे। नेट डेब्ट-टू-इक्विटी रेशियो 1.01x है, और ROACE यानी रिटर्न ऑन एवरेज कैपिटल एम्प्लॉयड 14.9% रहा, जो कि पिछले वर्ष से थोड़ा बेहतर है।

कंपनी ने ₹7,044 करोड़ का ऑपरेटिंग कैश फ्लो जेनरेट किया, जो उसकी ऑपरेशनल एफिशिएंसी को दर्शाता है।

भविष्य की रणनीति के तहत कंपनी टू-व्हीलर सेगमेंट में विस्तार, प्रीमियम और इनोवेटिव प्रोडक्ट्स विकसित करने, फोर-व्हीलर व कमर्शियल वाहनों के सेगमेंट में भागीदारी बढ़ाने और टियर-0.5 सप्लायर बनने की योजना पर काम कर रही है। बेलराइज़ इंडस्ट्री भारत में ऑटो कंपोनेंट इंडस्ट्री के बढ़ते आकार और ईवी कंपोनेंट्स की मांग को लेकर अपनी रणनीतिक स्थिति को मजबूत कर रही है।

यह कंपनी पहले बडवे इंजीनियरिंग लिमिटेड के नाम से जानी जाती थी। आज यह चेसिस सिस्टम्स, एग्जॉस्ट सिस्टम्स, बॉडी इन व्हाइट पार्ट्स, सस्पेंशन, स्टीयरिंग कॉलम्स और अन्य सेफ्टी क्रिटिकल कंपोनेंट्स का निर्माण करती है। इसके भारत के साथ-साथ ऑस्ट्रिया, स्लोवाकिया, यूके, जापान और थाईलैंड में भी ऑपरेशन्स हैं।

यह आर्टिकल केवल सूचना और शैक्षिक उद्देश्य के लिए है। इसे निवेश सलाह के रूप में न लिया जाए। स्टॉक मार्केट में निवेश जोखिम से जुड़ा होता है। किसी भी निवेश से पहले प्रमाणित वित्तीय सलाहकार से सलाह ज़रूर लें।

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